Thursday, February 25, 2021

तेरे बिन, ये जीवन नीरस

 तू ही तो है मेरी नूरा

             


तेरे बिन, यह जग है अधूरा, तेरे बिन, मैं नहीं हूँ पूरा।

तेरे बिन,  ये जीवन नीरस,  तू ही तो है मेरी नूरा।।

जीवन में कुछ रास न आये।

जब तक तू मेरे पास न आये।

साथ में होती, नूरा-कुश्ती,

दूरी मुझको, बहुत सताये।

आकर के तू खुद ही देख ले, तेरे बिन हुआ जीवन चूरा।

तेरे बिन,  ये जीवन नीरस,  तू ही तो है मेरी नूरा।।

वक्ष स्थल बिन, नींद न आये।

अधर पान बिन, रहा न जाये।

तेरे स्पर्श का, जादू ही है,

सुबह-शाम, मुझको तड़पाये।

नारी बिन, नर दुर्बल कितना, नारी बनाये, नर को सूरा।

तेरे बिन,  ये जीवन नीरस,  तू ही तो है मेरी नूरा।।

अधरों की वो तेरी लाली।

प्रेम भरी आँखों की प्याली।

उष्ण उरोजों की ऊष्मा बिन,

कैसे जीऊँ? हालत  माली।

अकेले-अकेले मन है सीझता, आकर इसको कर दे पूरा।

तेरे बिन,  ये जीवन नीरस,  तू ही तो है मेरी नूरा।।


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